आज विश्व होम्योपैथिक दिवस (World Homeopathy Day) है. इंडियन इंस्टीटयूट ऑफ़ होम्योपैथिक फिजीशियन और आरोग्य भारती की से रविवार को एक दिवसीय कार्यशाला है. जिसमें होम्योपैथी विशेषज्ञ चर्चा और मंथन करेंगे. क्योंकि, देश में आज होम्योपैथी से इलाज का दायरा बढ़ रहा है. कार्यशाला में दिल्ली के मशहूर होम्योपैथी विशेषज्ञ डॉ. दीपक शर्मा आ रहे हैं. जो अपने शोध पत्र भी पढ़ेंगे.
बता दें कि, आज मीठी गोली यानी शुगर ऑफ़ मिल्क में हर मर्ज का इलाज है. सामान्य बुखार, गुर्दे की पथरी, जोड़ों का दर्द, कैंसर, डायबिटीज, अस्थमा, मुंहासे समेत अन्य बीमारियां भी मीठी गोली से ठीक हो रही हैं. इतना ही नहीं, दवाओं में लागत भी कम है. होम्योपैथी से इलाज का कोई नुकसान नहीं है. होम्योपैथी से जटिल से जटिल रोग को जड़ से मिटता है.
होम्योपैथी के जनक का जन्म दिन आज
होम्योपैथी के जनक जर्मन मूल के ईसाई फ्रेडरिक सैमुअल हैनीमैन का जन्म 10 अप्रैल 1755 को हुआ था. आज उनकी 267 वीं जयंती है. हर साल उनके जन्मदिन पर विश्व होम्योपैथी दिवस मनाया जाता है.
होम्योपैथी के इलाज का शरीर पर दुष्प्रभाव नहीं
होम्योपैथी विशेषज्ञ डॉ. राजेंद्र सिंह ने बताया कि, आज होम्योपैथी इलाज की बेहद कारगर विधि है. होम्योपैथी की दवा में रोग लक्षण एवं औषधि लक्षण में जितनी ज्यादा समानता होगी. रोगी उतनी ही जल्दी स्वस्थ होगा. होम्योपैथी की मीठी गोली से हर मर्ज का इलाज हो रहा है. मरीज बशर्ते नियमित दवा खाएं. होम्यापैथी में बुखार से लेकर चर्म रोग ठीक हो रहे हैं. होम्योपैथी दवाओं का शरीर पर दुष्प्रभाव नहीं पड़ता है.
मुंहासे और मस्से का उपचार
डॉ. गोविंद जादौन बताते हैं कि, होम्योपैथी में किडनी स्टोन, पित्ताशय की सिंगल पथरी, गर्भाशय का ट्यूमर, स्तन की गांठ, शरीर पर होने बाले मस्से, चर्म रोग, मुंहासे, एलर्जी, कैंसर, हार्निया, साईटिका, सर्वाइकल स्पांडेलाइटिस, बवासीर, जुकाम समेत अन्य बीमारियों का सफल इलाज है.