साल 2019 में जारी विश्व स्वास्थ्य संगठन के रिपोर्ट के मुताबिक, भारत को 2012 से 2030 के बीच मानसिक स्वास्थ्य की खराब स्थिति के कारण 1.03 ट्रिलियन डॉलर का आर्थिक नुकसान होगा.
, आचार संहिता में यह भी साफ किया गया है कि, डॉक्टरों को अपने मरीज को दवा बेच सकते हैं. इतना ही नहीं, एनएमसी ने आचार संहिता मसौदे में कहा है कि, कोई भी डॉक्टर दूसरे डॉक्टरों की लिखी दवा बेच नहीं सकता है. वे जेनेरिक दवाएं ही लिखें और बेचें.