टीएमटी तकनीक से घुटना-पुनर्निर्माण बहुत आसान हो गया है. इसमें न्यूनतम रक्त क्षति के साथ छोटा चीरा लगता है. मात्र 15 से 20 मिनट में सर्जरी हो जाती है। सर्जरी के दूसरे दिन मरीज बिना सहारे के चलने लगता है. मरीज तीसरे दिन सीढ़ियां चढ़ सकता है.
स्वास्थ्य शिविर में शैल्बी हॉस्पिटल अहमदाबाद और मोहाली के भूतपूर्व वरिष्ठ जोड़ प्रत्यारोपण सर्जन तथा जोड़ प्रत्यारोपण आइवी हॉस्पिटल मोहाली के डायरेक्टर और हेड डॉ. भानु सलूजा आ रहे हैं.